मालेगांव में बांग्लादेशी-रोहिंग्याओं को जन्म प्रमाण पत्र जारी करने की जांच के लिए SIT गठित
महाराष्ट्र के मालेगांव में बांग्लादेशी और रोहिंग्या समुदाय के लोगों को जन्म प्रमाण पत्र जारी करने के आरोप की जांच के लिए मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस ने SIT (विशेष जांच दल) गठित करने के आदेश दिए हैं। यह जांच नासिक के DIG की अध्यक्षता में की जाएगी, जिसमें जिला अधिकारी (DM) भी शामिल होंगे। SIT जांच के दौरान जो तथ्य सामने आएंगे, उनके आधार पर उचित कार्रवाई की जाएगी। इस मुद्दे पर बीजेपी नेता किरीट सोमैया ने घोटाले का आरोप लगाते हुए आवाज उठाई थी।
बीजेपी नेता किरीट सोमैया का बयान
बीजेपी नेता किरीट सोमैया ने इस मुद्दे पर बयान देते हुए कहा कि मालेगांव में बड़े पैमाने पर बांग्लादेशी और रोहिंग्याओं को जन्म प्रमाण पत्र जारी किए गए हैं। उन्होंने कहा, "मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस ने इस घोटाले की जांच के लिए एक विशेष जांच समिति गठित करने के आदेश दिए हैं। इस टीम में पुलिस महानिरीक्षक, नगर विकास आयुक्त और जिला अधिकारी होंगे। हम चाहते हैं कि मालेगांव के साथ-साथ महाराष्ट्र के अन्य जिलों में रह रहे बांग्लादेशियों और रोहिंग्याओं को उनके देश वापस भेजा जाए।"
जांच का उद्देश्य और आगे की प्रक्रिया
महाराष्ट्र गृह विभाग की जानकारी के अनुसार, सीएम फडणवीस के आदेश के बाद इस जांच में शामिल पुलिस अधिकारियों का उद्देश्य यह है कि वे पहले इस घोटाले के कारणों का पता लगाएं और फिर इसके समाधान के लिए आगे कदम उठाएं।
किरीट सोमैया ने यह भी आरोप लगाया कि मालेगांव नगर पालिका ने इन लोगों को जन्म प्रमाण पत्र जारी किए हैं और उन्होंने आवेदन के साथ शपथ पत्र भी दिया है। इसके अलावा, इन सभी के पास संभवतः आधार कार्ड भी हो सकता है। सोमैया ने मांग की है कि इन प्रमाण पत्रों को रद्द किया जाए और मालेगांव को "वोट जिहाद" का केंद्र करार दिया है।