चुनाव आयोग ने अफसरों को ट्रांसफर करने का दिया आदेश
विधानसभा चुनाव की तैयारियों का मुआयना करने आए केंद्रीय चुनाव आयोग ने महाराष्ट्र के मुख्य सचिव और पुलिस महानिदेशक को निर्देश दिए हैं। आयोग ने उन्हें कहा है कि पहले उन अधिकारियों का तबादला करें, जो तीन साल से एक ही पद पर काम कर रहे हैं और जिनका विधानसभा चुनाव से संबंध है। उन्होंने कहा कि साथ ही उन लोगों का भी तत्काल तबादला करें, जो अपने गृह जिले में कार्यरत हैं। आयोग ने साफ कहा कि राज्य में विधानसभा चुनाव स्वतंत्र और निष्पक्ष कराने के लिए आयोग दृढ़ संकल्प है।
साथ ही आयोग ने यह भी स्पष्ट किया कि मतदान के बाद फॉर्म 17-सी उम्मीदवार के एजेंट को उसी दिन दे दिया जाएगा। लेकिन आयोग ने शहरी मतदाताओं की उदासीनता पर चिंता व्यक्त करते हुए सवाल किया कि गढ़चिरौली जैसे क्षेत्र में 75 प्रतिशत तक मतदान होता है, तो कोलाबा, कल्याण, पुणे जैसे क्षेत्र में 45 प्रतिशत तक मतदान क्यों होता है?
राजीव कुमार ने कहा कि यह मतदाताओं का अधिकार है कि वे जानें कि किसी उम्मीदवार की आपराधिक पृष्ठभूमि है या नहीं। उन्होंने कहा कि राजनीतिक दलों को ऐसे उम्मीदवारों को मैदान में उतारने के कारण भी बताना चाहिए। ऐसे उम्मीदवार को तीन बातें बतानी होंगी कि उन पर क्या मामले दर्ज हैं और पार्टी को भी ऐसा ही करना होगा। चुनाव की घोषणा के बाद सभी हेलीकॉप्टरों की जांच की जाएगी।
महाराष्ट्र विधानसभा चुनावों की तैयारियों की समीक्षा करने के लिए केंद्रीय चुनाव आयोग तीन दिन के दौरे पर मुंबई आया हुआ है। अधिकारियों और राजनीतिक दलों के नेताओं से बातचीत के बाद शनिवार को मुख्य निर्वाचन आयुक्त राजीव कुमार ने पत्रकारों से बात की। आयोग ने साफ किया कि चुनाव के दौरान किसी भी को हस्तक्षेप नहीं करने दिया जाए, चाहे और एक्सटेंशन पर काम करने वाले अधिकारी हों या फिर ठेके पर काम करने वाले अधिकारी हों। किसी को भी किसी प्रकार की रियायत नहीं दी जाएगी। कुमार ने कहा कि महाराष्ट्र चुनाव से पहले सोशल मीडिया पर फर्जी खबरें फैलाने वालों और डीप फेक तकनीक का इस्तेमाल करने वालों से सख्ती से निपटा जाएगा।